Odisha Student Suicide AIIMS Bhuvneshwar – ओडिशा में एक कॉलेज छात्रा की आत्महत्या ने पूरे प्रदेश को झकझोर कर रख दिया है। फकीर मोहन ऑटोनॉमस कॉलेज की 20 वर्षीय बीएड की छात्रा ने अपने कॉलेज परिसर में ही खुद पर पेट्रोल डालकर आग लगा ली थी। वजह थी—एक शिक्षक द्वारा लगातार यौन उत्पीड़न और बार-बार शिकायतों के बावजूद कॉलेज प्रशासन की चुप्पी।

Odisha Student Suicide AIIMS Bhuvneshwar- ओडिशा की छात्रा की आत्महत्या ने खोले शिक्षा व्यवस्था के काले सच
छात्रा को गंभीर हालत में AIIMS भुवनेश्वर के बर्न ICU में भर्ती किया गया था। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने भी 14 जुलाई 2025 को अस्पताल जाकर उसका हाल जाना और डॉक्टरों से इलाज की जानकारी ली। लेकिन तमाम प्रयासों के बावजूद उसे बचाया नहीं जा सका। देर रात 11:46 बजे छात्रा ने दम तोड़ दिया।
Odisha Student Suicide AIIMS Bhuvneshwar – मुख्यमंत्री मोहन चरण मांझी ने सोशल मीडिया पर पोस्ट कर दुख जताया— “मैं इस दुःखद घटना से बेहद व्यथित हूं। छात्रा को बचाने के लिए हर संभव प्रयास किए गए लेकिन हम सफल नहीं हो सके। ईश्वर उसकी आत्मा को शांति दे और परिवार को यह असहनीय दुख सहने की शक्ति दे।”
मुख्यमंत्री ने परिवार को भरोसा दिलाया कि इस मामले में दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा दी जाएगी। उन्होंने अधिकारियों को सख्त निर्देश दिए हैं कि किसी भी दोषी को बख्शा न जाए। यह घटना 12 जुलाई 2025 को घटी थी, जब छात्रा ने कॉलेज के प्राचार्य के कार्यालय के बाहर खुद को आग लगा ली। छात्र संगठनों का विरोध प्रदर्शन चल ही रहा था कि छात्रा ने यह कदम उठा लिया।
छात्रा की मौत की खबर फैलते ही AIIMS भुवनेश्वर में राजनीतिक हलचल तेज हो गई। उपमुख्यमंत्री प्रवती परीडा और भाजपा के कई विधायक छात्रा को श्रद्धांजलि देने अस्पताल पहुंचे। इधर बीजू जनता दल के नेताओं ने आरोप लगाया कि सरकार मामले को दबाने के लिए जल्दी पोस्टमॉर्टम करवा रही है और शव को जल्दबाजी में बालासोर भेज रही है। कांग्रेस कार्यकर्ता भी देर रात अस्पताल पहुंचे और रोड जाम कर दिया। स्थिति बिगड़ने के मद्देनजर पुलिस को तैनात करना पड़ा।
Odisha Student Suicide AIIMS Bhuvneshwar- पोस्टमॉर्टम के बाद शव को एम्बुलेंस से बालासोर भेजा गया। पूरे रास्ते पुलिस सुरक्षा का इंतजाम रहा। राजधानी भुवनेश्वर में भी सुरक्षा बढ़ा दी गई। राष्ट्रपति के दौरे के दौरान मुख्यमंत्री मांझी और केंद्रीय शिक्षा मंत्री धर्मेंद्र प्रधान भी अस्पताल में मौजूद थे। राष्ट्रपति ने छात्रा के इलाज का पूरा ब्यौरा लिया।
पूर्व मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने भी इस घटना पर सरकार को घेरा और कहा कि छात्रा को हर स्तर पर न्याय से वंचित किया गया। वहीं राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग और राष्ट्रीय महिला आयोग ने भी इस मामले में स्वतः संज्ञान लिया है।
क्राइम ब्रांच की ‘क्राइम अगेंस्ट वूमन एंड चिल्ड्रन विंग’ ने अलग से जांच शुरू कर दी है। ओडिशा के राज्यपाल हरि बाबू कंभंपति ने भी विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। आरोपी शिक्षक समीर साहू, जो कॉलेज के शिक्षा विभागाध्यक्ष थे, को 12 जुलाई को गिरफ्तार किया गया। इसके बाद प्राचार्य दिलीप घोष को भी सस्पेंड कर सोमवार को गिरफ्तार किया गया।
इस घटना ने कार्यस्थल पर महिला उत्पीड़न अधिनियम 2013 के तहत आंतरिक शिकायत समिति की व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए हैं। राज्य सरकार ने सभी कॉलेजों को 24 घंटे के भीतर ऐसी समितियां बनाने का निर्देश दिया है। छात्रा के परिवार का कहना है कि उसने हर संभव स्तर पर न्याय की गुहार लगाई लेकिन जब कोई समाधान नहीं मिला तो उसे यह भयावह कदम उठाना पड़ा।
| विषय | विवरण |
|---|---|
| मृतका | 20 वर्षीय बीएड छात्रा |
| कॉलेज | फकीर मोहन ऑटोनॉमस कॉलेज, ओडिशा |
| घटना की तारीख | 12 जुलाई 2025 |
| मृत्यु की तारीख | 14 जुलाई 2025 |
| आरोपी | समीर साहू (शिक्षक), दिलीप घोष (प्राचार्य) |
| अस्पताल | AIIMS भुवनेश्वर |
| सरकार की कार्रवाई | न्याय का आश्वासन, दोषियों की गिरफ्तारी |
| जांच | क्राइम ब्रांच, NHRC, NCW द्वारा जांच |
| राजनीति | BJP, BJD, कांग्रेस का विरोध प्रदर्शन |