Operation Sindur Effect on market: बाजार विशेषज्ञों का मानना है कि ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद भारतीय रुपये में जो गिरावट देखी गई, वह अधिकतर भावनात्मक प्रतिक्रिया और अस्थायी दबाव का परिणाम है। मिराए एसेट शेयरखान के रिसर्च एनालिस्ट अनुज चौधरी के अनुसार, डॉलर की कमजोरी और घरेलू बाजार में सकारात्मक संकेतों की वजह से रुपया जल्द ही संभल सकता है। इसके अलावा विदेशी संस्थागत निवेशकों (FII) द्वारा भारतीय शेयरों में लगातार निवेश भी रुपये को समर्थन दे सकता है।
हालांकि, अगर पाकिस्तान की ओर से कोई जवाबी सैन्य कार्रवाई होती है या भू-राजनीतिक तनाव बढ़ता है, तो रुपये पर फिर से दबाव बन सकता है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतों में भी हल्की बढ़ोतरी देखने को मिली है, जिससे मुद्रा विनिमय दर पर असर पड़ सकता है।
वहीं डॉलर इंडेक्स, जो छह प्रमुख मुद्राओं के मुकाबले डॉलर की ताकत को दर्शाता है, 0.23 प्रतिशत की बढ़त के साथ 99.46 पर रहा। ब्रेंट क्रूड की कीमत 0.42 प्रतिशत बढ़कर 62.41 डॉलर प्रति बैरल हो गई। ये वैश्विक संकेत भी रुपये की चाल को प्रभावित कर सकते हैं। कुल मिलाकर, भले ही ऑपरेशन के बाद रुपये में थोड़ी कमजोरी आई हो, लेकिन भारत की आर्थिक स्थिति मजबूत बनी हुई है और आने वाले दिनों में स्थिरता की उम्मीद की जा रही है।

ऑपरेशन सिंदूर: आतंक के खिलाफ करारा जवाब (Operation Sindur Effect on market)
भारतीय सेना ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत पाकिस्तान के 9 आतंकी ठिकानों पर एकसाथ सटीक हमले किए। 1971 के बाद पहली बार तीनों सेनाओं ने एकजुट होकर ऐसा अभियान चलाया। यह कार्रवाई पहलगाम हमले के जवाब में की गई थी, जिसमें कई निर्दोष जानें गई थीं। भारत ने इस ऑपरेशन से यह साफ संदेश दिया कि आतंकवाद को अब बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
बाजारों पर असर: भारत मजबूत, पाकिस्तान डगमगाया (Operation Sindur Effect on market)
ऑपरेशन के बाद भारत का शेयर बाजार स्थिर रहा और बीएसई सेंसेक्स 105 अंकों की बढ़त के साथ बंद हुआ, जबकि निफ्टी में भी 34 अंकों का लाभ हुआ। वहीं पाकिस्तान का कराची स्टॉक एक्सचेंज करीब 6% गिरा, जो वहां की अस्थिरता को दर्शाता है। यह फर्क दोनों देशों की आर्थिक स्थिरता और बाजार की आत्मविश्वास को दिखाता है।
रुपया गिरा, लेकिन उम्मीद कायम (Operation Sindur Effect on market)
ऑपरेशन के बाद भारतीय रुपया डॉलर के मुकाबले 45 पैसे कमजोर हुआ और 84.80 पर बंद हुआ। वहीं पाकिस्तानी रुपया सिर्फ 13 पैसे टूटा। बाजार विशेषज्ञों के अनुसार, डॉलर की कमजोरी और घरेलू निवेश के चलते जल्द ही भारतीय रुपये में सुधार की संभावना है। हालांकि अगर पाकिस्तान की ओर से जवाबी हमला होता है, तो अस्थिरता और बढ़ सकती है।